भाजपा को खतरा अपनों से,कांग्रेस से नहीं: राणा

अपनों के रडार पर सरकार कभी भी गिर सकती है

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प्रदेश कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष एवं सुजानपुर के विधायक राजेंद्र राणा ने बीजेपी सरकार को घेरते हुए हमला किया है। उन्होंने कहा है भाजपा को खतरा कांग्रेस से नहीं है बल्कि असल खतरा पार्टी के स्वयं के विधायक व मंत्रियों से है।राणा ने कहा कि अपनी ही बीजेपी सरकार की कारगुजारी से प्रदेश के अनेक विधायक व मंत्रियों के असंतुष्ट व रुष्ट होने की चर्चाओं ने जोर पकड़ा है। उनके असंतुष्ट होने का कारण सरकार पर सवार अफसरशाही की सलाह और साजिशों के कारण सत्ता संस्थान का कमजोर, लाचार व बेबस होना है। उन्होंने कहा कि यह भी चर्चा है कि विधायकों की बातें न तो  सुनी जा रही है, न मंत्रियों की सलाह ली जा रही है, जिस कारण से प्रदेश के तमाम विकास कार्य ठप्प हो चुके हैं और इसी बड़े कारण से विधायकों और मंत्रियों को अपने-अपने विधानसभा क्षेत्रों के लोगों का आक्रोश डराने लगा है। राणा ने कहा कि बीजेपी सरकार के कुछ विधायक व मंत्री वीरभद्र सरकार की प्रशंसा करने लग गए हैं। विधायकों का कहना है कि वीरभद्र सरकार में कम से कम जनता के विकास कार्य निरंतर चलते रहते थे।
राणा ने भाजपा सरकार पर तीखे कटाक्ष करते हुए सवाल दागे हैं। उन्होंने कहा है कि कांग्रेस की कोई मंशा नहीं है कि प्रचंड बहुमत से जीती बीजेपी सरकार अस्थिर हो, लेकिन जब अपने बीजेपी के ही विधायक और मंत्री अपनी ही सरकार की स्थिरता नहीं देखना चाह रहे हैं तो कांग्रेस क्या करे? उन्होंने कहा कि जनता और अपने  विधायकों में बढ़ते आक्रोश के चलते सरकार कभी भी गिर सकती है और इसकी आशंका दिन प्रतिदिन बलबती होती जा रही है। 2012 से 2017 तक वीरभद्र कार्यकाल में बीजेपी विपक्ष बात-बात पर वॉकआउट करता था। छल और षड्यंत्रों का सहारा लेकर बीजेपी के दिग्गज नेता कांग्रेस सरकार के गिरने के कयास  लगाते थे और अब अपनी ही बीजेपी सरकार उन दिग्गजों के रडार पर है। राणा बोले कि बात-बात पर वीरभद्र राज में आंदोलन खड़ा करना जिस बीजेपी की फितरत रही है, क्या वह बीजेपी बताएगी कि अगर कांग्रेस राज में किसी मुख्यमंत्री ने हिमाचल को क्वारंटाइन डेस्टिनेशन बनाने की बात की होती तो स्थिति क्या होती? लेकिन सत्ता की मनमानियों के कारण अब असंतुष्ट व रुष्ट बीजेपी ने अपनी ही सरकार को रडार पर  लिया है। यह दीगर है कि अब निरंकुश सत्ता के आगे बहरहाल उनकी भी बोलती बंद है। एक के बाद एक भ्रष्टाचार के खुलासे हो रहे हैं और इस बीजेपी के भ्रष्टाचार ने अब कोरोना काल को भी नहीं बख्शा है लेकिन सत्ता सुविधाओं के नाम पर बिके हुए लोग और केंद्र की बैसाखियों पर टिके हुए लोग अब कब तक अपनों के विरोध व विद्रोह से बच पांएगे, यह अब भविष्य ही तय करेगा? राणा ने कहा कि 27 मई के बाद बीजेपी के ग्रह गोचर भारी साबित हो या न हों लेकिन यह तय है कि अब सरकार पर अपनों का विरोध व विद्रोह भारी साबित होगा।

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